क्या हो रहा है सूर्य पर ! तस्वीर के दाये निचे कोने पर ध्यान दिजिये ! क्या है यह ?
यह तस्वीर सोलर डायनेमिक्स ओबजरवेटोरी द्वारा छ: दिसंबर को 17:50 UT पर ली गयी है। यह सुर्य से समय समय पर निकलने वाली सौर ज्वाला है। इस सौर ज्वाला 10 लाख किमी मे फैली हुयी है। ध्यान रहे इस तस्वीर पर पृथ्वी की लंबाई चौड़ाई 5 पिक्सेल से ज्यादा नही होगी ! पृथ्वी का व्यास लगभग 12,750 किमी है।

सौर ज्वाला
अब कुछ ज्ञान की बातें
1.इस घटना से पृथ्वी को कोई खतरा नही है। इस तरह की सौर ज्वाला से का असर सूर्य तक ही रहता है और कुछ घंटो बाद यह ज्वाला शांत हो जाती है। इस ज्वाला के साथ कोई सौर विकिरण उत्सर्जन (Coronal Mass Ejection) नही हुआ है, जो उपग्रहो और पावर ग्रिडो को नुकसान पहुंचा सकती है।
2. आश्चर्यजनक रूप से इस घटना की दृश्य प्रकाशिय तस्वीर[Visible Light][निचे की तसवीर देखें] मे कोई झलक नही है। सौर ज्वाला की उपर दी गयी तस्वीर पराबैगनी फिल्टर से ली गयी है।
3.दृश्य प्रकाश की तस्वीर मे जो सूर्य धब्बे दिखायी दे रहे है वे पराबैंगनी फिल्टर वाली तस्वीर मे ज्यादा मुखर है।

सूर्य धब्बे
सूर्य का चुबंकिय क्षेत्र काफी जटिल होता है, जिसमे चुंबकिय रेखायें महाकाय लूप बनाती है जो सूर्य की सतह से निकल कर कुछ दूरी पर सतह पर वापिस आ जाती है। सूर्य धब्बे वह क्षेत्र होते है जहां चुंबिकिय शक्ति ज्यादा होती है। इसके कारण गैस सूर्य की सतह से उपर उठकर वापिस नीचे नही आ पाती और गैस के पैकेट नीचे से उबलते हुये सतह पर आते है और थोड़े ठन्डे हो जाते है। ये थोड़े ठन्डे क्षेत्र गहरे होने के कारण धब्बो के जैसे दिखते है। लेकिन पराबैंगनी फिल्टर से चुबंकिय उर्जा आसानी से देखी जा सकती है।
ये तस्वीरे दर्शाती है कि आकाश मे जो भी कुछ हो रहा है वह सारा का सारा हमे दिखायी नही देता। हमारी समझ सदियों के निरिक्षण का परिणाम है लेकिन पिछले कुछ दशको मे हमारी दृष्टी मे वह प्रकाश भी शामिल हुआ है जो हमारी आंखे नही देख पाती।
ये तस्वीरे दर्शाती है कि आकाश मे जो भी कुछ हो रहा है वह सारा का सारा हमे दिखायी नही देता। हमारी समझ सदियों के निरिक्षण का परिणाम है लेकिन पिछले कुछ दशको मे हमारी दृष्टी मे वह प्रकाश भी शामिल हुआ है जो हमारी आंखे नही देख पाती।
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